inpiration – motivational qoutes in hindi
विचार -पुष्प
आदमी की सोच पौधे की तरह होती है। अच्छी खाद और पानी मिलना बंद हो जाये तो वह सूख जाएगा। यदि पौधे को पानी -खाद पर्याप्त मात्रा में मिले तो वह विशाल पेड़ बन जायेगा। इसी तरह तरह आदमी अपनी सोच को सकारात्मक खाद और आशावादी पानी देता है तो अभीष्ट फल वाला पेड़ खड़ा हो सकता है।
जहाँ मूर्खों को पूजा नहीं जाता ,जहाँ भविष्य के अन्न पहले से ही संगृहीत होता है ,जहाँ स्त्री -पुरूष में कलह नहीं होता ,वहां लक्ष्मी का आगमन होता है-चाणक्य
झूठ से जो पाया जाता है उसे खोया हुआ मानना चाहिए,और सत्य से जो खो गया जान पड़ता है ,उसे पाया हुआ जानना चाहिए
मनुष्य अपने अपमान का कारण स्वयं होता है
मनुष्यता के लिया मोमबत्ती की तरह पिघलना आना चाहिए
आत्म -संतुष्टि हो तो गरीब फटे वस्त्रों और सूखी रोटियों में भी धनिकों जैसा सुख पा सकता है और इसके विपरीत आत्म-संतुष्टि न हो तो जल-थल-के सारे रत्न पाकर भी धनी गरीब जैसा ही रह जाता है -प्रेम चंद
चापलूसी की बैसाखियों का सहारा वही लोग लेते है जिनकी काबिलियत लंगड़ी होती है
पशु डंडे से ,मूर्ख आवश्यकता से,साधारण मनुष्य अनुभव से और ज्ञानी विवेक से सीखते है -सिसरो
बर्फ और तूफ़ान फूलों को तो तबाह कर सकते है किन्तु बीज को नहीं –खलील जिब्रान
अच्छा स्वाभाव सुंदरता की पूर्ति कर देता है किन्तु सुंदरता अच्छे स्वाभाव की पूर्ति नहीं कर सकती –स्वामी विवेकानंद
भय और चिंता की जन्मदात्री इच्छा ही है.बुराई का बीज उस निर्लज्ज बीज की भांति है जिसे बोया नहीं जाता ,स्वतः उग आता है.समझदार को चाहिए कि बुराई की कोपल फूटते ही इसे नष्ट कर दे अन्यथा यह विशाल बनकर अपने सामान कई सारे पेड़ पैदा कर देंगा
महत्वपूर्ण यह नहीं है कि दूसरे तुम्हारे बारे में क्या सोचते है ,महत्वपूर्ण यह है कि तुम स्वयं अपने बारे में क्या सोचते हो
दूसरों से बात-चीत करके हम ढेरों बातें जान लेगें ,सही है ,लेकिन अपने आप से बात करके हम वो जान लेगें ,जो दुनिया जानना चाहती है
ज्यादा के लालच में आदमी वह भी खो देता है जो उसके पास है
जिसे स्वयं पर विश्वास नहीं ,उससे दूसरे पर विश्वास करने की आशा व्यर्थ है
आशावादी कठिनाइयों में भी अवसर तलाश लेता है किन्तु निराशावादी चलकर आये हुए अवसर में भी कठिनाई देखता है
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